जगदगुरुकुलम

जगदगुरुकुलम का उद्देश्य सम्पूर्ण शिक्षा और सनातन संस्कृति को प्रदान करना है, जिसमें शैक्षिक उत्कृष्टता को नैतिक मूल्यों और आध्यात्मिक समृद्धि के साथ मिलाया जाता है। इसका मुख्य उद्देश्य ज्ञान, सांस्कृतिक विरासत, और नैतिक सत्य के प्रति श्रद्धा को बढ़ावा देना है। विचारशीलता, रचनात्मकता, और सामाजिक जिम्मेदारी को बढ़ावा देकर, जगदगुरुकुलम व्यक्तियों को जागरूक वैश्विक नागरिक बनाने का काम करता है। अनुभवात्मक शिक्षा और अन्तर्विषयी अध्ययन के माध्यम से, यह छात्रों को वास्तविक जीवन की चुनौतियों का सामना करने के लिए आवश्यक कौशल और ज्ञान प्रदान करता है। अंततः, जगदगुरुकुलम का उद्देश्य व्यक्तियों को समर्थ, समृद्ध जीवन जीने और समाज में सकारात्मक योगदान करने की क्षमता प्रदान करना है।

जगदगुरुकुलम की मिशन और दृष्टि:

पूजा और रिटुअल्स के मानकीकरण

पूजा और रिटुअल्स के मानकीकरण: एजगदगुरुकुलम का मिशन पूजा और संस्कारों के क्षेत्र में मानकीकरण करना है। इसके लिए, पूज्य शंकराचार्य द्वारा विभिन्न मानक सेट किए जाएंगे और उन्हें स्थापित किया जाएगा।

पाठ्यक्रम प्रमाण पत्र

विभिन्न पाठ्यक्रमों और प्रशिक्षण कार्यक्रमों के माध्यम से, एजगदगुरुकुलम प्रमाण पत्र प्रदान करेगा जो छात्रों को विभिन्न क्षेत्रों में विशेषज्ञता प्राप्त करने में सहायक होंगे।

विद्यालय और विश्वविद्यालय

जगदगुरुकुलम द्वारा विभिन्न स्तरों पर विद्यालय और विश्वविद्यालय स्तर पर पाठ्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। इससे छात्रों को संस्कृति, धर्म, और विज्ञान में समृद्धता मिलेगी।

कौशल आधारित पाठ्यक्रम

छात्रों को वास्तविक जीवन के चुनौतियों का सामना करने के लिए कौशल आधारित पाठ्यक्रम प्रदान किए जाएंगे, जो उन्हें आगे बढ़ने में मदद करेंगे।

इस रूप में, जगदगुरुकुलम एक समृद्ध और समर्थ समाज की निर्माण की दिशा में अपनी भूमिका निभा रहा है, जहां विद्या, धर्म, और नैतिकता के मूल्यों को मिलाकर शिक्षा के माध्यम से व्यक्ति को उन्नत और समर्थ बनाया जा सके।

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